जबलपुर में 10वीं का पेपर देख खुश हुए स्टूडेंट्स, परीक्षा के पहले उतरवाए जूते-मोजे

जबलपुर। माध्यमिक शिक्षा मंडल की 10वीं की परीक्षा सोमवार से शुरू हो गई हैं। पहले दिन सुबह 9 से दोपहर 12 तक हिंदी का पेपर हुआ। जबलपुर जिले में एग्जाम में 46 हजार परीक्षार्थी शामिल हुए। वहीं, परीक्षा केंद्र के गेट के साथ-साथ एग्जाम हॉल में भी छात्रों की तलाशी ली गई।
जिले में 104 सेंटर बनाए गए हैं। इनमें 56 ग्रामीण, तो 48 परीक्षा केंद्र शहरी क्षेत्र में हैं। इनमें से 10 केंद्रों को संवेदनशील श्रेणी में रखा गया है।
बाहर उतरवाए जूते-मोजे
परीक्षा केंद्र में कलेक्टर के प्रतिनिधि को छोड़कर केंद्राध्यक्ष व सहायक केंद्र अध्यक्ष सहित किसी को भी मोबाइल फोन रखने की इजाजत नहीं दी गई। वहीं, कलेक्टर प्रतिनिधि यदि कोई भी मोबाइल लाता है, तब कलेक्टर प्रतिनिधि के समक्ष मोबाइल फोन रखकर, सील कर उसका प्रमाण पत्र देने की व्यवस्था की गई थी। दूसरी तरफ प्रश्न पत्र के शुरू होने से पहले विद्यार्थियों के जूते-मोजे भी क्लास रूम के बाहर उतरवाए गए।
एडमिट कार्ड में फोटो नहीं, परेशान दिखे छात्र
कुछ विद्यार्थियों के एडमिट कार्ड में फोटो नहीं थी। जिसके कारण परीक्षार्थी परेशान भी दिखाई दिए। थोड़ी देर तक प्रश्न पत्र हल करने से भी रोका गया। कुछ मामले पंडित लज्जा शंकर झा स्कूल के देखने को मिले। जहां कुछ विद्यार्थियों के एडमिट कार्ड में फोटो नहीं थी। हालांकि संकुलाध्यक्ष राजेश जगाती की सूझबूझ के कारण उन्हें समय पर ही प्रश्न पत्र देकर समझाइश दी गई। जहां संकुल के अध्यक्ष ने अटेंडेंस शीट से परीक्षार्थी की फोटो और साइन को क्रॉस चेक कर परीक्षार्थी को पेपर में शामिल होने दिया। हालांकि उन्होंने परीक्षार्थियों को यह भी हिदायत दी की अगले प्रश्न पत्रों में उन्हें आइडेंटी कार्ड लाना होगा।