घने कोहरे की आगोश में MP, ग्वालियर, भिंड, रायसेन में बारिश; रायसेन में खाई में गिरी कार, एक की मौत

भोपाल। मध्यप्रदेश घने कोहरे की आगोश में है। मंगलवार अलसुबह ग्वालियर, मुरैना, भिंड और रायसेन में बारिश हुई। भोपाल में भी इस सीजन का सबसे घना कोहरा रहा। विजिबिलिटी 10 मीटर से भी कम रह गई। सुबह करीब 10 बजे के बाद हल्की धूप खिली। ग्वालियर, भिंड, और रायसेन में रात को बूंदाबांदी हुई। शिवपुरी और मुरैना में भी तेज पानी गिरा।
मध्यप्रदेश के पश्चिमी हिस्से में अगले 1-2 दिन में ओले गिर सकते हैं।
मौसम वैज्ञानिकों ने मालवा (उज्जैन संभाग) में ओलावृष्टि और हल्की बारिश का अनुमान जताया है। 12 जनवरी के बाद रात में भी कड़ाके की ठंड पड़ेगी। इससे पहले सोमवार को कई शहरों में करीब चार दिन बाद धूप खिलने से तापमान में बढ़ोतरी हुई।
मौसम विभाग के मुताबिक अगले 24 घंटे में उज्जैन, मंदसौर, नीमच, शिवपुरी, ग्वालियर, रतलाम, हरदा, सागर समेत भोपाल संभाग में हल्की बारिश हो सकती है। वहीं, ग्वालियर-चंबल संभाग में मध्यम से घना कोहरा भी रहेगा।

दूसरी ओर, मध्यप्रदेश में शीतलहर को देखते हुए स्कूलों के समय में बदलाव हुआ है। अब 20 जनवरी तक स्कूल सुबह 10 बजे से ही संचालित होंगे। स्कूल शिक्षा विभाग ने शासकीय और अशासकीय स्कूलों के लिए इस संबंध में आदेश जारी कर दिया है।
ग्वालियर, भिंड और रायसेन में बूंदाबांदी
मंगलवार को ग्वालियर, भिंड और रायसेन में रुक-रुककर बूंदाबांदी हो रही है। भिंड जिले के रौन, मिहोना, लहार, दबोह, मौ, मेहगांव, गोहद, अटेर में कुछ एरिया में तेज बारिश हुई। किसानों का कहना है कि मावठ की बारिश से चना, सरसों और गेहूं की फसल को फायदेमंद है।

ग्वालियर सबसे ठंडा, खजुराहो में भी सर्दी
सोमवार को ग्वालियर सबसे ठंडा रहा। यहां अधिकतम तापमान 20.2 डिग्री दर्ज किया गया। खजुराहो प्रदेश का दूसरा सबसे ठंडा शहर रहा। यहां टेम्प्रेचर 20.5 डिग्री दर्ज किया गया। नौगांव, टीकमगढ़, दमोह, गुना, रीवा, उमरिया, नर्मदापुरम, सागर, सतना, रायसेन, सीधी, नरसिंहपुर, पचमढ़ी, धार और मलाजखंड में दिन का तापमान 25 डिग्री से कम रहा।
सीनियर मौसम वैज्ञानिक दिव्या सुरेंद्रन ने बताया कि पंजाब के ऊपर साइकोनिक सर्कुलेशन सिस्टम और वेस्टर्न डिस्टरबेंस एक्टिव है। वेस्टर्न डिस्टरबेंस आने वाले दिनों में स्ट्रॉन्ग होगा। वेस्ट एमपी में बारिश होने के आसार है। ओले भी गिर सकते हैं। कोहरा अगले दो-तीन दिन तक और रहेगा। सिस्टम के गुजरने के बाद रात के टेम्प्रेचर में गिरावट होगी।


