Friday, December 13, 2024
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छिंदवाड़ा में लायंस क्लब नेत्रालय पर कार्रवाई को लेकर ज्ञापन दिया, कहा- 15 दिनों में कार्रवाई नहीं तो अनशन

Gave memorandum regarding action on Lions Club Nethralaya in Chhindwara, said - if action is not taken in 15 days then fast, chhindwara, rinku chaurasia, lions club eye hospital
समाजसेवा रिंकू चौरसिया ने शिकायत कर मामले का खुलासा किया था।

छिंदवाड़ा। परासिया में लायंस क्लब के नेत्रालय अस्पताल में करोड़ों के घोटाले में समाज सेवी रिंकू चौरसिया ने मंगलवार को कलेक्टर मनोज पुष्प को ज्ञापन सौंपा। ज्ञापन में कहा गया है कि15 दिन में कार्रवाई नहीं की जाती है, तो अनशन किया जाएगा।

गौरतलब है कि 6 जनवरी को रिंकू रितेश चौरसिया ने प्रेसवार्ता कर लायंस क्लब परासिया के लायंस ऑई हॉस्पिटल एंड रिसर्च सेंटर द्वारा करोड़ों की धोखाधड़ी का खुलासा किया था। लायंस क्लब लायंस सेवा समिति विगत 5 साल से परासिया में वेयर हाउस रोड में आइ हॉस्पिटल चला रही है।

सरकार के अंधत्व मुक्त भारत के अंतर्गत आंखों के अस्पताल को शिविरों के माध्यम से नि:शुल्क मोतियाबिंद का ऑपरेशन करना बताया गया है। इसके ऐवज  में शासन अस्पताल संचालकों को प्रति मोतियाबिंद ऑपरेशन का 2 हजार रुपए देता है।

रिंकू रितेश चौरसिया ने पहले CMHO, क्षेत्रीय संचालक स्वास्थ्य सेवाएं जबलपुर संभाग, लोक सूचना अधिकारी राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन भोपाल को विगत 5 महीने से आरटीआई लगा कर दस्तावेजों इकट्‌ठे किए। इसमें पाया गया लायंस ऑई हॉस्पिटल एंड रिसर्च सेंटर ने मोतियाबिंद के नि:शुल्क ऑपरेशन के नाम पर जो शिविर लगाए गए हैं, उसमें घोटाला किया गया।

किस साल में कितने ऑपरेशन दर्शाए

साल 2018-19 में 1250 ऑपरेशन, वर्ष 2019-20 में 4,565 ऑपरेशन, 2020-21 में 3,146 ऑपरेशन, वर्ष 2021-22 में 4106 ऑपरेशन, वर्ष 2022-23 में 4,891 ऑपरेशन कराए गए।

इन ऑपरेशन से कब कितने रुपए मिले

ज्ञापन में बताया गया है कि वर्ष 2018 में 25,00,000 रुपए, 2019 में 91,30,000 रुपए, वर्ष 2020 में 62,92,000 रुपए, वर्ष 2021 में 82,12,000 रुपए, वर्ष 2022 में 97,82,000 रुपए लिए। यानी कुल ऑपरेशन 17, 958 और कुल 3 करोड़ 69 लाख 16 हजार रुपए लिए हैं।

वर्ष 2022/23 में 3,269 ऑपरेशन के 65,38,000 का बिल भी लगाया था। इसे सीएमएचओ को दिया गया। संदेह होने पर लायंस वर्ष 2022-23 में किए गए सभी ऑपरेशन के दस्तावेज प्रस्तुत करने के आदेश कर दिए।

जांच समिति ने किया खुलासा

शासन ने जांच समिति बनाई। समिति ने क्षेत्रीय संचालक स्वास्थ्य सेवाएं जबलपुर संभाग जबलपुर को जांच कर प्रस्तुत किया। इसमें फर्जी ऑपरेशन की पुष्टि हुई है। इनमें मोबाइल नंबर, आधार और पते गलत डाल दिए गए। यही नहीं, सीएमएचओ को संस्था पर केस दर्ज कराने का निर्देश भी मिल चुका है। साथ ही, कहा है कि 18 अप्रैल 2023 को एमओयू समाप्त कर दिया गया है। इसके बाद के भुगतान पर रोक लगाने की बात कही गई है।

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