Friday, November 15, 2024
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कांग्रेस ने 29 लोकसभा सीटों पर को-ऑर्डिनेटर किए नियुक्त: इंदौर में बाला बच्चन और भोपाल की कमान प्रियव्रत सिंह को

Congress appointed co-ordinators on 29 Lok Sabha seats: Bala Bachchan in Indore and Priyavrat Singh in charge of Bhopal, MP congress, kalluram news, loksabha election 2024, election 2024

भोपाल। कांग्रेस ने मध्यप्रदेश में लोकसभा चुनाव की तैयारी शुरू कर दी है। पार्टी ने 29 लोकसभा सीटों के लिए को-ऑर्डिनेटर्स नियुक्त कर दिए हैं। चुनाव के करीब चार महीने पहले विधायक, पूर्व विधायक और पूर्व मंत्रियों को एक-एक सीट की जिम्मेदारी सौंपी गई है। माना जा रहा है कि विधानसभा चुनाव में मिली करारी हार के बाद कांग्रेस ने कुछ सबक लिया है। भोपाल लोकसभा क्षेत्र की जिम्मेदारी प्रियव्रत सिंह और इंदौर का जिम्मा बाला बच्चन को दिया गया है।

विधानसभा चुनाव में BJP ने तो चार महीने पहले कैंडिडेट घोषित कर दिए थे, लेकिन कांग्रेस ऐनवक्त पर उम्मीदवार तय किए थे। भले ही कांग्रेस सरकार बनाने को लेकर आश्वस्त थी, लेकिन लाड़ली बहना योजना ने उम्मीद पर पानी फेर दिया। नतीजा, BJP ने प्रचंड बहुमत से सरकार बनाई। इंदौर, खजुराहो और देवास लोकसभा क्षेत्र में आने वाली सभी 24 विधानसभा सीटों में तो कांग्रेस का खाता तक नहीं खुला।

ऑल इंडिया कांग्रेस कमेटी (AICC) ने लोकसभा चुनाव में को-ऑर्डिनेटर्स की नियुक्ति में जातीय और क्षेत्रीय समीकरणों का ख्याल रखा है। अनुसूचित जाति (SC) के लिए आरक्षित टीकमगढ़ लोकसभा सीट की जिम्मेदारी भांडेर विधायक फूल सिंह बरैया को दी गई है। इस लोकसभा क्षेत्र में अहिरवार-जाटव समाज के वोटर निर्णायक माने जाते हैं। बरैया भी इसी समाज से आते हैं।

इसी तरह, भिंड और मुरैना लोकसभाओं पर राजपूत समाज के विधायक नितेंद्र सिंह राठौर, जयवर्धन सिंह को जिम्मेदारी दी गई है। इन दोनों सीटों पर राजपूत मतदाता निर्णायक हैं। देखते हैं कि किस सीट पर क्या हाल हैं…

भोपाल लोकसभा क्षेत्र

  • पूर्व विधायक प्रियव्रत सिंह को कांग्रेस ने लोकसभा कोऑर्डिनेटर बनाया है।
  • 8 विधानसभा में से भोपाल उत्तर और मध्य कांग्रेस बाकी 6 पर भाजपा का कब्जा।
  • खिलचीपुर विधानसभा सीट से इस बार प्रियव्रत को हार का सामना करना पड़ा।
  • 1984 में केएन प्रधान कांग्रेस के सांसद बने थे। वर्तमान में प्रज्ञा ठाकुर BJP की सांसद हैं।

जबलपुर लोकसभा क्षेत्र

  • पूर्व पीएचई मंत्री सुखदेव पांसे को जिम्मेदारी।
  • 8 विधानसभा सीट में से सिर्फ जबलपुर पूर्व में कांग्रेस का विधायक है। 7 में भाजपा विधायक।
  • 1996 से लगातार कांग्रेस जबलपुर लोकसभा सीट हारती आ रही है।
  • यहां के सांसद राकेश सिंह चुनाव जीतने के बाद संसद सदस्यता से इस्तीफा दे चुके हैं।

उज्जैन लोकसभा क्षेत्र

  • बाबूलाल यादव को कांग्रेस ने कोऑर्डिनेटर बनाया।
  • 8 विधानसभा सीट में से दो पर कांग्रेस और 6 पर भाजपा विधायक।
  • 2009 में प्रेमचंद गुड्‌डू कांग्रेस के सांसद चुने गए थे।
  • इसके बाद दो चुनाव में BJP का कब्जा रहा है।
  • वर्तमान में BJP के अनिल फिरोजिया सांसद हैं।

इंदौर लोकसभा क्षेत्र

  • कांग्रेस ने राजपुर से विधायक बाला बच्चन को जवाबदारी दी है।
  • सभी 8 विधानसभा सीट पर BJP के विधायक हैं।
  • 1984 में कांग्रेस के प्रकाश चंद्र सेठी सांसद चुने गए थे।
  • वर्तमान में शंकर लालवानी BJP के सांसद हैं।

ग्वालियर लोकसभा क्षेत्र

  • NSUI के पूर्व प्रदेशाध्यक्ष और आगर के पूर्व विधायक विपिन वानखेडे को जिम्मेदारी।
  • 8 विधानसभा क्षेत्र में से 4 में कांग्रेस और 4 पर भाजपा विधायक।
  • 2004 में रामसेवक सिंह कांग्रेस के सांसद बने थे। इसके बाद से लगातार BJP के सांसद हैं।
  • वर्तमान में BJP के विवेक शेजवलकर सांसद हैं।

होशंगाबाद लोकसभा क्षेत्र

  • पूर्व मंत्री दीपक जोशी को कोऑर्डिनेटर बनाया।
  • सभी 8 विधानसभा सीटों पर BJP का कब्जा।
  • 2009 में कांग्रेस के टिकट पर राव उदय प्रताप सिंह सांसद बने थे। इसके बाद वे BJP में शामिल हो गए थे।
  • 2014 और 2019 में BJP के टिकट पर उदय प्रताप सिंह सांसद बने।

बैतूल लोकसभा क्षेत्र 

  • भोपाल उत्तर से विधायक आरिफ मसूद को जिम्मेदारी।
  • बैतूल लोकसभा (ST) में 8 विधानसभाएं हैं। टिमरनी, हरदा ही कांग्रेस के पास हैं।
  •  1991 में कांग्रेस के असलम शेर खान सांसद बने थे।
  • वर्तमान में दुर्गादास उईके बीजेपी के सांसद हैं।

विदिशा लोकसभा क्षेत्र

  • हर्ष यादव को कांग्रेस ने यहां का कोऑर्डिनेटर बनाया।
  • 8 विधानसभा में से सिर्फ सिलवानी कांग्रेस के पास है। बाकी पर बीजेपी का कब्जा।
  • 1984 में कांग्रेस के प्रताप भानु शर्मा सांसद बने थे।1989 से लगातार BJP के सांसद चुने जा रहे हैं।

छिंदवाड़ा लोकसभा क्षेत्र

  • पूर्व विधायक सुनील जायसवाल को समन्वयक बनाया है।
  • सभी सातों विधानसभा (जुन्नारदेव, अमरवाड़ा, चौरई, सौंसर, छिंदवाड़ा, परासिया, पांढुर्णा) में कांग्रेस का कब्जा।
  • 1952 से लेकर अब तक हुए चुनाव में सिर्फ एक बार 1997 में BJP के सुंदरलाल पटवा सांसद बने थे।
  • कमलनाथ यहां से 9 बार सांसद रह चुके हैं। एक बार उनकी पत्नी अलका नाथ भी चुनाव जीत चुकी हैं। वर्तमान में कमलनाथ के बेटे नकुल नाथ सांसद हैं।

राजगढ़ लोकसभा क्षेत्र

  • सत्यनारायण पटेल को को-ऑर्डिनेटर बनाया गया है।
  • राजगढ़ लोकसभा की 8 विधानसभा सीटों पर BJP ने जीत दर्ज की थी।
  • पूर्व CM दिग्विजय सिंह के गढ़ पर 2009 में नारायण सिंह कांग्रेस के सांसद चुने गए थे।
  • इसके बाद BJP के रोडमल नागर जीत रहे हैं।

देवास लोकसभा क्षेत्र

  • विशाल पटेल को जिम्मेदारी दी।
  • 8 विधानसभा में से एक में भी कांग्रेस विधायक नहीं।
  • 2009 में सज्जन सिंह वर्मा कांग्रेस के सांसद चुने गए थे।
  • इसके बाद दो चुनाव में BJP के उम्मीदवार जीतते रहे हैं।

मंदसौर लोकसभा क्षेत्र

  • दिलीप सिंह गुर्जर को जिम्मेदारी।
  • मंदसौर में 8 विधानसभा में कांग्रेस, जावरा, मल्हारगढ़, सुवासरा, गरोठ, मनासा, नीमच, जावद में भाजपा विधायक हैं।
  • 2009 में मीनाक्षी नटराजन कांग्रेस की सांसद चुनी गई थीं।
  • इसके बाद हुए दो चुनाव में BJP के सुधीर गुप्ता जीतते आ रहे हैं।

रतलाम लोकसभा क्षेत्र

  • सचिन यादव को लोकसभा को-ऑर्डिनेटर बनाया।
  • रतलाम लोकसभा (ST) में 8 विधानसभा सीटें हैं। जोबट, झाबुआ, थांदला में कांग्रेस विधायक हैं।
  • अलीराजपुर, पेटलावद, रतलाम ग्रामीण, रतलाम सिटी में BJP विधायक हैं। सैलाना से भारतीय आदिवासी पार्टी के विधायक हैं।
  • 2015 के उपचुनाव में कांतिलाल भूरिया कांग्रेस के सांसद चुने गए थे।
  • वर्तमान में गुमान सिंह डामोर BJP के सांसद हैं।

धार लोकसभा क्षेत्र

  • रवि जोशी को जिम्मेदारी। 8 विधानसभाएं हैं। कांग्रेस ने सरदारपुर, गंधवानी, कुक्षी, मनावर, बदनावर में जीत दर्ज की थी।
  • धरमपुरी, धार, महू में भाजपा के विधायक हैं।
  • 2009 के चुनाव में गजेंद्र सिंह राजूखेड़ी कांग्रेस के सांसद चुने गए थे।
  • वर्तमान में छतर सिंह दरबार बीजेपी के सांसद हैं।

मुरैना लोकसभा क्षेत्र

  •  पूर्व मंत्री और राघौगढ़ (गुना) विधायक जयवर्धन सिंह को जिम्मेदारी।
  • यहां 8 विधानसभा सीट में से 5 पर कांग्रेस विधायक हैं।
  • नरेंद्र सिंह तोमर के इस्तीफे के बाद फिलहाल मुरैना लोकसभा सीट रिक्त है।

भिंड  लोकसभा क्षेत्र

  • पृथ्वीपुर विधायक नितेंद्र सिंह राठौड़ को कोऑर्डिनेटर बनाया है।
  • नितेंद्र, पूर्व मंत्री स्वर्गीय बृजेंद्र सिंह राठौड़ के बेटे हैं।
  • यहां 8 विधानसभा सीटों में से 4 पर कांग्रेस जीती थी।
  • वर्तमान में BJP की संध्या राय भिंड से सांसद हैं।

गुना  लोकसभा क्षेत्र

  • पूर्व मंत्री लाखन सिंह यादव को कोऑर्डिनेटर बनाया।
  • सिंधिया राजघराने के प्रभाव वाले क्षेत्र में किरार समाज के लीडर लाखन सिंह यादव लोकसभा चुनाव की रणनीति बनाएंगे।
  • शिवपुरी, पिछोर, कोलारस, गुना, चंदेरी और मुंगावली में BJP काबिज है। 2 सीट बमोरी, अशोकनगर में कांग्रेस के विधायक हैं।

मंडला  लोकसभा क्षेत्र

  • मऊगंज के पूर्व विधायक सुखेंद्र सिंह बना को समन्वयक बनाया है।
  • फग्गन सिंह कुलस्ते 6 बार सांसद बनते आ रहे हैं।
  • 1996 के बाद 2009 के चुनाव में उन्हें कांग्रेस के बसोरी सिंह मसराम ने हरा दिया था। कुलस्ते हाल में विधानसभा का चुनाव निवास सीट से लड़े और हार गए।
  • 8 विधानसभाओं में से 5 सीट पर कांग्रेस और 3 सीट पर BJP विधायक हैं।
  • वर्तमान में फग्गन सिंह कुलस्ते BJP से सांसद हैं।

बालाघाट लोकसभा क्षेत्र

  • इस सीट का जिम्मा तेंदूखेड़ा के पूर्व विधायक संजय शर्मा को दिया है।
  • 8 विधानसभा में से 4 (बैहर, परसवाड़ा, बालाघाट, वारासिवनी) में कांग्रेस के विधायक हैं।
  • लांजी, कटंगी, बरघाट और सिवनी में BJP के विधायक हैं।
  • बालाघाट से वर्तमान में ढाल सिंह बिसेन सांसद हैं।

सागर लोकसभा क्षेत्र

  • ब्यावरा के पूर्व विधायक रामचंद्र दांगी को प्रभारी बनाया।
  • 8 विधानसभा में से 7 सीट पर BJP काबिज। एक मात्र बीना सीट पर कांग्रेस की विधायक हैं।
  • 1991 में सागर सीट पर आनंद अहिरवार कांग्रेस के सांसद बने थे। इसके बाद से लगातार BJP का इस सीट पर कब्जा है। वर्तमान में राजबहादुर सिंह सांसद हैं।

टीकमगढ़ लोकसभा क्षेत्र

  • भांडेर विधायक फूल सिंह बरैया को को-ऑर्डिनेटर बनाया है। यह सीट 2009 में अस्तित्व में आई थी।
  • 8 विधानसभा सीटों में से 5 में BJP के विधायक हैं। बाकी 3 पर कांग्रेस काबिज।
  • तीन चुनावों से डॉ. वीरेंद्र कुमार सांसद चुने जा रहे हैं। वर्तमान में वे मोदी कैबिनेट में मंत्री हैं।

दमोह लोकसभा क्षेत्र

  • पूर्व मंत्री लखन घनघोरिया को जिम्मेदारी दी गई है।
  • 1984 में कांग्रेस के डालचंद्र जैन दमोह लोकसभा से कांग्रेस के सांसद चुने गए थे। 9 लोकसभा चुनाव में BJP जीतती आ रही है।
  • 8 विधानसभाओं में से 7- देवरी, रहली, बंडा, पथरिया, दमोह, जबेरा, हटा में BJP के विधायक हैं। एकमात्र बड़ा मलहरा सीट कांग्रेस के पास है।
  • इस सीट पर 2 बार से BJP के प्रहलाद पटेल जीतते आ रहे हैं।

खजुराहो लोकसभा क्षेत्र

  • बरगी के पूर्व विधायक संजय यादव को समन्वयक बनाया।
  • 1999 में कांग्रेस के सत्यव्रत चतुर्वेदी सांसद चुने गए थे।
  • चार लोकसभा चुनाव में हर बार BJP ने नया कैंडिडेट उतारा। सभी जीते।
  • खजुराहो लोकसभा क्षेत्र में शामिल 8 विधानसभा पर BJP का कब्जा है। वर्तमान में BJP प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा सांसद हैं।

खरगोन लोकसभा क्षेत्र

  • रामलाल मालवीय को खरगोन की जवाबदारी दी गई है।
  • खरगोन लोकसभा (ST) की 8 विधानसभा सीटों में कांग्रेस MLA हैं।
  • महेश्वर, खरगोन, पानसेमल में BJP विधायक हैं।
  • 2007 के उपचुनाव में कांग्रेस के टिकट पर अरुण यादव सांसद चुने गए थे।
  • वर्तमान में गजेंद्र पटेल BJP के सांसद हैं।

खंडवा  लोकसभा क्षेत्र

  • आरके दोगने को कोऑर्डिनेटर बनाया है।
  • 8 विधानसभा में से सिर्फ भीकनगांव ही कांग्रेस के पास है।
  • बागली, मांधाता, खंडवा, पंधाना, नेपानगर, बुरहानपुर, बड़वाह में BJP का कब्जा है।
  • 2009 में कांग्रेस के टिकट पर अरुण यादव सांसद चुने गए थे।
  • वर्तमान में यहां से ज्ञानेश्वर पाटिल BJP के सांसद हैं।

सतना लोकसभा क्षेत्र

  • पूर्व मंत्री तरुण भनोट को जिम्मेदारी दी गई है।
  • 7 विधानसभा सीटों में से 5 में भाजपा और सतना, अमरपाटन में कांग्रेस के विधायक हैं।
  • 1991 में अर्जुन सिंह कांग्रेस के सांसद बने थे। 1996 में सुखलाल कुशवाह बसपा के सांसद बने। इसके बाद से BJP के सांसद जीत रहे हैं।
  • 2004 से इस सीट पर BJP के गणेश सिंह सांसद हैं।

रीवा लोकसभा क्षेत्र

  • केवलारी विधायक रजनीश सिंह को समन्वयक बनाया है।
  • 8 विधानसभाओं में से 7 में BJP और एकमात्र सेमरिया में कांग्रेस का कब्जा है।
  • 1999 में कांग्रेस के सुंदरलाल तिवारी सांसद बने थे। 2009 में बसपा के देवराज सिंह पटेल सांसद बने। पिछले दो चुनाव में BJP के जर्नादन मिश्रा जीत दर्ज करते आ रहे हैं।

सीधी लोकसभा क्षेत्र

  • पूर्व विधायक विनय सक्सेना को कांग्रेस ने समन्वयक बनाया है।
  •  8 विधानसभा सीट में से 7 विधानसभा में BJP के विधायक हैं। चुरहट सीट पर कांग्रेस का कब्जा।
  • परिसीमन के बाद 2009 से लेकर अब तक के तीन लोकसभा चुनाव में BJP के ही उम्मीदवार जीतते आए हैं।
  • इस सीट से रीति पाठक विधानसभा चुनाव जीतने के बाद संसद की सदस्यता से इस्तीफा दे चुकी हैं।

शहडोल लोकसभा क्षेत्र

  • मंडला से कांग्रेस के विधायक डॉ. अशोक मर्सकोले को समन्वयक बनाया है।
  • 8 विधानसभा में से एकमात्र पुष्पराजगढ़ में ही कांग्रेस बाकी 7 सीट पर भाजपा विधायक हैं।
  • आखिरी बार 2007 में राजेश नंदिनी सिंह कांग्रेस के टिकट पर सांसद चुनी गई थीं।
  • 2014 में दलपत सिंह परस्ते BJP के सांसद बने। उनके निधन के बाद हुए उपचुनाव में BJP के ज्ञान सिंह सांसद बने।
  • वर्तमान में BJP की हिमाद्री सिंह सांसद हैं।

 

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