मैपकास्ट का कारनामा, सवा करोड़ का फिल्म फेस्टिवल पहले हो गया, टेंडर चार महीने बाद; अब लोकायुक्त से शिकायत
भोपाल। भोपाल स्थित मध्य प्रदेश विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी संस्थान (मैपकास्ट) का बड़ा कारनामा सामने आया है। मैपकास्ट के अफसरों ने सवा करोड़ रुपए की लागत से 12वें राष्ट्रीय फिल्म फेस्टिवल का आयोजन पहले कर दिया। कार्यक्रम के लिए आवश्यक चीजों के टेंडर और अन्य महत्वपूर्ण दस्तावेजों की खानापूर्ति दो महीने बाद बैक डेट में की गई।
मामला 2022 का है। अब इसमें सूचना के अधिकार (RTI) के तहत जानकारी निकाली, तब यह घोटाला उजागर हुआ। पता चला कि गड़बड़ी के इरादे से जानबूझकर जावक रजिस्टर में जगह खाली छोड़ दी है। आनन-फानन में चार महीने बाद रजिस्टर भरा गया। लोकायुक्त से भी शिकायत की गई है। अब अधिकारी घोटाले पर पर्दा डालने की कोशिश कर रहे हैं।
1.17 crore Economic Fraudulent In MPCAST Bhopal
समझिए, कैसे की गई गड़बड़ी
शिकायत के मुताबिक 22-26 अगस्त 2022 के बीच 12वें राष्ट्रीय फिल्म फेस्टिवल का आयोजन किया गया। जिम्मेदारी मैपकास्ट को सौंपी गई। आमतौर पर किसी भी कार्यक्रम के लिए आवश्यक कार्यों की व्यवस्थाओं संबंधी टेंडर प्रक्रिया पहले की जाती हैं, लेकिन इस मामले सब उल्टा किया गया। यानी कार्यक्रम पहले आयोजित हो गया।
पहले डिसीजन लिया गया था कि फेस्टिवल का आयोजन मध्य प्रदेश माध्यम की ओर से किया जाएगा, लेकिन अचानक निर्णय बदल दिया गया।
1.17 crore Economic Fraudulent In MPCAST Bhopal
रजिस्टर में बैकडेट में एंट्री
शिकायत में कहा गया है कि फेस्टिवल खत्म होने के बाद जावक रजिस्टर में बैकडेट एंट्री कर दी गई। 20 अगस्त 2022 को जावक क्रमांक 1063 से 1072 तक की प्रविष्टियां 14 सितंबर 2022 के बाद दर्ज की गईं। आरोप है कि आर्थिक गड़बड़ी को छिपाने के लिए ऐसा किया गया है।
दो बार मांगी जानकारी, लेकिन नहीं दी गई
शिकायतकर्ता का कहना है कि पहले जब जानकारी मांगी गई थी, तब यह कहकर मना कर दिया कि मांगी गई जानकारी स्पष्ट नहीं है। अपीलीय अधिकारी के पास अपील दायर की गई, फिर भी जानकारी नहीं दी गई। मामले में शिकायतकर्ता ने लोकायुक्त से जांच की मांग की है।
इस मामले में जब मैपकास्ट के डीजी डॉ. अनिल कोठारी से संपर्क किया गया, तो उन्होंने संतोषजनक जवाब नहीं दिया।
1.17 crore Economic Fraudulent In MPCAST Bhopal